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स्वास्थ्य मंत्रालय ने होम आइसोलेशन को लेकर जारी की नई गाइडलाइन

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कोरोना के संभावित तीसरी लहर के मद्देनजर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने होम आइसोलेशन को लेकर बनाई गई गाइडलाइन में बदलाव किया है। स्वास्थ्य मंत्रालय ने हल्के/बिना लक्षण वाले कोरोना रोगियों के होम आइसोलेशन के लिए संशोधित गाइडलाइन जारी की है।

 

मंत्रालय ने कहा, पॉजिटिव होने के सात दिन और तीन दिनों तक लगातार बुखार नहीं आने के बाद होम आइसोलेशन के तहत रोगी को छुट्टी दे दी जाएगी और आइसोलेशन खत्म हो जाएगा।

 

स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि होम आइसोलेशन  की अवधि समाप्त होने के बाद दोबारा टेस्टिंग की कोई जरूरत नहीं है। स्वास्थ्य मंत्रालय इस बात को लेकर भी चिंतित है की डेल्टा वेरिएंट ने जितनी तबाही भारत में मचाई, उतनी तबाही दक्षिण अफ्रीका में डेल्टा वेरिएंट से नहीं हुई थी। ऐसे में ओमिक्रॉन भारत में क्या रूख करेगा इस लेकर उहापोह की स्थिति है।

 

असिम्प्टोमैटिक और माइल्ड मरीजों के लिए गाइडलाइंस

– लैब जांच में कोरोना पॉजिटिव पाए गए लोगों को होम आइसोलेशन में रहना होगा। ऐसे मरीजों के परिजनों को जिला या सब डिविजन लेवल के कंट्रोल रूम का नंबर दिया जाना चाहिए ताकि वो मरीज के इलाज के लिए गाइडलाइंस प्राप्त कर सकें।

गाइडलाइंस

-ऐसे मरीजों के घर में आइसोलेशन की सुविधा होनी चाहिए। इसके अलावा कोई ऐसा शख्स भी घर में हो, जिनको वैक्सीनेशन की दोनों डोज लगी हो और वह मरीज की 24X7 देखभाल के लिए मौजूद रहे।

-60 साल से ज्यादा उम्र वाले को-मोबलिटी (ब्लड प्रेशर, डायबिटीज, हृदय रोग, फेफड़े, लिवर और किडनी मरीज) वाले मरीज को तभी होम आइसोलेशन की इजाजत दी जाए जब उनका इलाज करने वाले डॉक्टर ऐसा करने को कहे।

 

मरीज खुद को घर के दूसरे सदस्यों से दूर रखें। एक ही कमरे में रहें और घर के अन्य लोगों खासकर बुजुर्गों और को-मोर्बीलीटी वाले लोगों से दूर रहें।

 

-होम आइसोलेशन में रहने वाले मरीज वेंटिलेटेड कमरे में रहें। खिड़कियों को खुल रखें ताकि ताजी हवा आती रहे। मरीज खूब आराम करें और खूब लिक्विड लें।

 

मरीज लगातार साबुन से हाथ धोएं या फिर सैनेटाइजर से हाथ साफ करते रहें। इसके अलावा शारीरिक गतिविधियों का पूरा ध्यान रखें।

 

-मरीज अपने निजी सामान किसी दूसरे के साथ शेयर नहीं करें। तारीख और समय के साथ, शरीर का तापमान, हार्ट रेट, ऑक्सीजन लेवल, कैसा महसूस कर रहे हैं और सांस लेने को लेकर स्थिति के बारे में लिखने की सलाह दी गई है।

मरीजों की देखभाल करने वाले के लिए नियम

मरीजों की देखभाल करने वाले ट्रिपल लेयर वाले मास्क जरूर पहने रखें। मास्क का अगला हिस्सा हाथ से नहीं छुआ जाए। यूज के बाद मास्क को टुकड़ों में करके एक पेपर बैग में रखकर उसे नष्ट कर दिया जाए।

-मरीजों की देखभाल कर रहे शख्स अपना चेहरा और मुंह को छूने से बचना चाहिए। ऐसे लोग हाथ को लगातार साफ करते रहें।

माइल्ड सिम्पटम्स और असिम्प्टोमैटिक मरीजों का होम आइसोलेशन के दौरान इलाज

-मरीज को लगातार अपने इलाज कर रहे डॉक्टर के संपर्क में रहना चाहिए। किसी प्रकार की दिक्कत में तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए

डॉक्टर से संपर्क के बाद को-मोबलिटी वाले मरीजों को अपने दवाओं को जारी रखना चाहिए।

-मरीज टेलि कंसलटेशन प्लेफॉर्म का इस्तेमाल करके अपना इलाज शुरू कर सकते हैं

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