सुप्रीम कोर्ट ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत गिरफ्तारी के ED के अधिकार को बरकरार रखा है। कोर्ट ने कहा, ED की गिरफ्तारी की प्रक्रिया मनमानी नहीं है।
सुप्रीम कोर्ट ने PMLA के कई प्रावधानों की संवैधानिकता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए ये फैसला सुनाया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा, आरोपी को ECIR देना भी जरूरी नहीं है। यह काफी है कि आरोपी को यह बता दिया जाए कि उसे किन आरोपों के तहत गिरफ्तार किया जा रहा है।