Supreme Court

EWS की वैधता पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आज

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भारत के मुख्य न्यायाधीश जस्टिस उदय उमेश ललित का सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को आखिरी दिन है। वे छह अहम मामलों में फैसला सुनाएंगे। सुप्रीम कोर्ट आज 103वें संविधान संशोधन की वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर अपना फैसला सुनाएगा। इसमें प्रवेश और सरकारी नौकरियों में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) के व्यक्तियों को 10 फीसदी आरक्षण प्रदान किया गया है।

पीठ ने 27 सितंबर को फैसला सुरक्षित रख लिया था। पांच सदस्यीय संविधान पीठ में मुख्य न्यायाधीश यू.यू. ललित, जस्टिस दिनेश माहेश्वरी, एस रवींद्र भट, बेला एम त्रिवेदी और जेबी पारदीवाला हैं। मामले में मैराथन सुनवाई लगभग सात दिनों तक चली। इसमें याचिकाकर्ताओं और (तत्कालीन) अटॉर्नी जनरल के.के. वेणुगोपाल और सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने ईडब्ल्यूएस कोटे का बचाव किया।

केंद्र सरकार ने 2019 में संसद में 103वां संविधान संशोधन प्रस्ताव पारित कर आर्थिक रूप से कमज़ोर सामान्य वर्ग के लोगों को नौकरी और शिक्षा में 10 प्रतिशत आरक्षण देने की व्यवस्था की थी। इससे संविधान के खिलाफ बताते हुए सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई।

मुख्य न्यायाधीश यू.यू. ललित आठ नवंबर को सेवानिवृत्त हो जाएंगे। उनकी जगह डॉ. डीवाई चंद्रचूड़ देश के अगले मुख्य न्यायाधीश बनेंगे।

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