राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के नेता की हत्या में कथित रूप से शामिल खालिस्तानी आतंकवादी हैप्पी पीएचडी आखिरकार पाकिस्तान में हुए गैंगवार में मारा गया। वह लंबे समय से पाकिस्तान में वहां की खुफिया एजेंसी आईएसआई के संरक्षण में रह रहा था। हरमीत सिंह उर्फ हैप्पी पीएचडी को मंगलवार तड़के लाहौर के डेरा चाहल गुरुद्वारा के पास गोलियों से भून दिया गया। लंबे समय पाकिस्तान में रह रहे इस आतंकवादी की पंजाब पुलिस को तलाश थी। पंजाब का मोस्ट वांटेड हैप्पी खुद को खालिस्तान लिबरेशन फोर्स का प्रमुख कहता रहा है।
खालिस्तान लिबरेशन फोर्स की गतिविधियों का कर रहा था संचालन
हरमीत सिंह उर्फ हैप्पी पीएचडी अमृतसर जिला के छेहरटा का रहने वाला था। उसने श्री गुरुनानक देव यूनिवर्सिटी अमृतसर से पीएचडी की थी। वह वर्ष 2014 में थाईलैंड से गिरफ्तार किए गए खालिस्तान लिबरेशन फोर्स के मुखिया हरविंदर सिंह मिंटू का करीबी रहा है। खुफिया एजेंसियों के अनुसार मिंटू की गिरफ्तारी के बाद वह पाकिस्तान से खालिस्तान लिबरेशन फोर्स की गतिविधियों का संचालन कर रहा था।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के नेता की हत्या का था आरोप
हैप्पी पीएचडी पर वर्ष 2016 -17 में पंजाब में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के नेता की हत्या का आरोप था। हैप्पी पर भारत में आतंकवादी गतिविधियों में शामिल होने के अलावा ड्रग्स और हथियार तस्करी के अनेक मामले दर्ज हैं। कुछ समय पहले इंटरपोल ने हैप्पी समेत आठ खालिस्तानी आतंकवादियों के खिलाफ रेड कार्नर नोटिस जारी किया था।
डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम भी रहे हैं हैप्पी के निशाने पर
हैप्पी पर वर्ष 2019 में ऑपरेशन ब्लू स्टार की बरसी के अवसर पर हमला करने के षडयंत्र का भी आरोप है। इस हमले को विफल कर दिया गया था । वर्ष 2018 में अमृतसर के राजा सांसी स्थित निरंकारी भवन में हुए बम विस्फोट में भी हैप्पी पीएचडी की भूमिका सामने आई थी। इस विस्फोट में तीन लोग मारे गए थे। पाकिस्तान में हुई हैप्पी के हत्या के पीछे पैसे का विवाद माना जा रहा है। यह विवाद तस्करी के पैसों को लेकर था। डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम भी हैप्पी के निशाने पर रहे हैं।
वर्ष 2008 में छोड़कर चला गया था अपना घर
हैप्पी पीएचडी वर्ष 2008 में अपना घर छोड़कर चला गया था। बाद में पता चला कि वह पाकिस्तान में है। इस दौरान फिरोजपुर की मखु पुलिस ने उसके घर पर छापा मारकर तीन लोगों को पकड़ा था। यह लोग हैप्पी के करीबी थे। इनके पास से छह एके 56 राइफल, 25 पिस्तौल, 900 कारतूस , 25 लाख रुपये की नकली करेंसी और 25 किलोग्राम हेरोइन बरामद हुई थी।
6 नवंबर 2008 को हैप्पी के विरुद्ध किया था हत्या का प्रयास और अवैध हथियार का मुकदमा दर्ज
पुलिस ने 6 नवंबर 2008 को हैप्पी के विरुद्ध हत्या का प्रयास और अवैध हथियार का मुकदमा दर्ज किया था। हैप्पी के निशाने पर शिवसेना, संघ और डेरा सिरसा के नेता रहे हैं। वर्ष 2009 में पंजाब के पटियाला में मारे गए राष्ट्रीय सिख संगत के नेता और रुलदा सिंह की हत्या के मामले में भी वह शामिल रहा है। हैप्पी को पाकिस्तान में खालिस्तानी संगठनों के बीच एक मजबूत कड़ी माना जाता था।
