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फिरहाद हकीम चुने गये कोलकाता के मेयर

कोलकाता

कोलकाता। तृणमूल कांग्रेस नेता व राज्य के मंत्री फिरहाद हकीम कोलकाता के नये मेयर चुने गये हैं। सोमवार को कोलकाता नगर निगम में मेयर चुनाव के लिये हुए मतदान में राज्य के शहरी विकास और अग्निशमन मामलों के मंत्री फिरहाद हकीम ने भारी अंतर से जीत दर्ज की है। उन्होंने भाजपा उम्मीदवार मीना देवी पुरोहित को पांच के मुकाबले 121 मतों से पराजित किया। फिरहाद को जहां तृणमूल के 121 पार्षदों के वोट मिले वहां मीना देवी पुरोहित को भाजपा के पांच पार्षदों के ही वोट प्राप्त हुए। माकपा के 14 और कांग्रेस के दो पार्षदों ने मतदान का बहिष्कार किया। कोलकाता नगर निगम में मौजूदा पार्षदों की संख्या 144 है जिसमें से तृणमूल कांग्रेस के 122 पार्षद है। इनमें से 63 नंबर वार्ड की तृणमूल पार्षद सुष्मिता भट्टाचार्य की तबीयत ठीक नहीं थी जिसकी वजह से वह मतदान नहीं कर सकी। दोपहर 1:00 बजे से शुरू हुए गुप्त मतदान की गणना अपराहन 3:30 बजे के करीब पूरी हुई। नगर निगम के सचिव हरिहर प्रसाद मंडल ने परिणाम की घोषणा की जिसमें साफ हुआ कि तृणमूल कांग्रेस के सभी 121 पार्षदों ने फिरहाद हकीम को वोट दिया है जबकि भाजपा के सभी पार्षदों ने मीना देवी पुरोहित के पक्ष में मतदान किया था।
पिछले सप्ताह ही तृणमूल पार्षद बिल्किस बेगम ने कलकत्ता उच्च न्यायालय में मेयर का चुनाव रोकने की याचिका लगाई थी और कहा था कि विधानसभा में मेयर चुनाव के लिए संशोधित किए गए कानून संवैधानिक तौर पर वैध नहीं है। लेकिन गत शुक्रवार को इस पर सुनवाई करते हुए न्यायालय ने स्थगन लगाने से इंकार कर दिया था। इसके बाद फिरहाद हकीम का मेयर बनना लगभग तय था।
उल्लेखनीय है कि गत 20 नवंबर को तत्कालीन मेयर शोभन चटर्जी ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के निर्देश पर अपने पद से इस्तीफा दिया था। उसी दिन मुख्यमंत्री ने तृणमूल के सभी पार्षदों के साथ बैठक की थी और शहरी विकास मंत्री फिरहाद हकीम को मेयर बनाने की घोषणा की थी। इसके लिए राज्य सरकार ने विधानसभा में प्रस्ताव लाकर मौजूदा कोलकाता म्युनिसिपल कारपोरेशन एक्ट में संशोधन किया था और यह प्रावधान जोड़ा गया था कि कोई भी व्यक्ति कोलकाता नगर निगम का मेयर बन सकता है बशर्ते उसे छह महीने के भीतर कोलकाता के किसी वार्ड से पार्षद का चुनाव जीतना होगा। अब जबकि फिरहाद हकीम मेयर चुन लिये गये हैं तो उन्हें भी कोलकाता के किसी ना किसी वार्ड से छह महीने के अंदर पार्षद का चुनाव जीत कर आना होगा। पहले मेयर बनने के लिए पार्षद होना जरूरी था जिस से संबंधित कानून में संशोधन कर राज्य सरकार ने “कोलकाता म्युनिसिपल कारपोरेशन (सेकंड अमेंडमेंट) बिल 2018” विधानसभा के शीतकालीन सत्र में पास किया है।
सोमवार को जब फिरहाद हकीम के मेयर चुने जाने की घोषणा हुई तो पूर्व मेयर शोभन चटर्जी ने उन्हें शुभकामनाएं दी और कहा कि मुझे पूरी उम्मीद है कि नए मेयर के नेतृत्व में कोलकाता नगर निगम की कार्यवाही काफी बेहतर तरीके से चलेगी।

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